यीशु और ज्योतिषी
अध्याय ७
यीशु और ज्योतिषी
अनेक पुरुष पूर्व से आए हैं। वे ज्योतिषी हैं—वे लोग जो तारों की स्थिति का अर्थ बतलाने का दावा करते हैं। जब वे पूर्व में अपने देश में थे उन्होंने एक नया तारा देखा था, जिसका पीछा करते हुए वे यरूयलेम की ओर सैकडों किलोमीटर चल पड़े।
जब वे यरूशलेम पहुँचते हैं, वे पूछते हैं: “यहूदियों का राजा जिसका जन्म हुआ है, कहाँ है? क्योंकि हमने पूर्व में उसका तारा देखा है और उसको प्रणाम करने आए हैं।”
जब यरूशलेम में राजा हेरोदेस इसके बारे में सुनता है, तब वह बहुत परेशान हो जाता है। सो वह महायाजकों को बुलवाकर उनसे पूछता है कि मसीह का जन्म कहाँ होना है। धर्मशास्त्र को आधार मानकर, वे जवाब देते हैं: “बैतलहम में।” इस पर, हेरोदेस ज्योतिषियों को अपने पास बुलवाकर उन से कहता है: “उस बालक के विषय में ठीक ठीक मालूम करो और जब वह मिल जाए तो मुझे समाचार दो ताकि मैं भी आकर उसे प्रणाम करुँ।” लेकिन, असल में, हेरोदेस बालक को ढूँढ़कर मार डालना चाहता है!
उनके चले जाने के बाद, एक आश्चर्यजनक घटना घटती है। जो तारा उन्होंने पूर्व में देखा था अब उनके आगे बढ़ रहा है। स्पष्टतया, यह कोई साधारण तारा नहीं, बल्कि इसे विशेष रूप से उन्हें निर्दिष्ट करने के लिए प्रबंध किया गया है। ज्योतिषी तब तक उसके पीछे-पीछे चलते हैं जब तक वह ठीक उस घर के ऊपर रुकता है जहाँ यूसुफ और मरियम रहते हैं।
जब ज्योतिषी उस घर में प्रवेश करते हैं, वे मरियम को अपने छोटे बालक, यीशु के साथ पाते हैं। और तब वे सब के सब झुक जाते हैं। और वे अपनी-अपनी थैलियों से सोना, लोहबान, और गन्धरस के उपहार निकालते हैं। बाद में, जब वे लौटकर हेरोदेस को बतलाने ही वाले थे कि वह बालक कहाँ है, परमेश्वर की ओर से ऐसा नहीं करने की चेतावनी उन्हें एक ख़्वाब में मिलती है। सो वे दूसरे मार्ग से होकर अपने देश लौट जाते हैं।
आप क्या सोचते हैं, किसने ज्योतिषियों को मार्ग दिखाने के लिए आकाश में चलता तारे का प्रबन्ध किया? याद करें, उस तारे ने उन्हें सीधे बैतलहम में यीशु के पास निर्दिष्ट नहीं किया। इसके बजाय, उन्हें यरूशलेम में ले जाया गया जहाँ वे राजा हेरोदेस के सम्बन्ध में आए, जो यीशु को मार डालना चाहता था। और वह ऐसा ही करता यदि परमेश्वर दख़ल देकर ज्योतिषियों को हेरोदेस को न बतलाने की चेतावनी नहीं देते। वह परमेश्वर का दुश्मन, शैतान इब्लीस था, जो यीशु को मार डालना चाहता था, और उसी ने अपने उद्देश्य को पूरा करने की कोशिश में उस तारे का उपयोग किया। मत्ती २:१-१२; मीका ५:२.
▪ क्या बतलाता है कि जो तारा ज्योतिषियों ने देखा था वह एक साधारण तारा नहीं था?
▪ यीशु कहाँ है जब ज्योतिषी उसे ढूँढ़ निकालते हैं?
▪ हम क्यों जानते हैं कि शैतान ने ज्योतिषियों को राह दिखाने के लिए तारे का प्रबंध किया था?